जो शासक वर्ग सोच, घृणित जाति भेद, वर्ण भेद, नारी दासता , बहुसंख्यक जन पर शुद्र स्तर थोपा , शिक्षा संपत्ति से वंचित रखा, रखने का षड़यंत्र करे , गुलाम रखना चाहता, घोर क्रुर अन्याय, अत्याचार , ब्लातकार किए, करने कराने के षड़यंत्र करे , वो शासक वर्ग शासितों की जीवन सुरक्षा करे , चिंता करे , ऐसे शासक वर्ग की कार्य नीति पर भरोसा करने की जरूरत है? जीन पर शासन किया जाता , उन सब को मिल कर , आपसी मतभेद भूल कर जीवन सुरक्षा के लिए संगठित रूप से मुकाबला कर , सत्ता से हटाना जरूरी है। इसके पहले इवीएम हटवाकर Ballot paper से चुनाव करवाने की व्यवस्था लागू करवाने की जरूरत है। तभी मानव के मौलिक अधिकार लागू करवा सकते। इसके लिए जन आंदोलन जरूरी है। जीन पर शासन किया जाता उनकी संख्यां 97% है। 97% पर शासन करने वालों की संख्या 3% है।
3% वाले शासन प्रशासन के 79% पर कब्जा, नियंत्रण है।
97% को खुद की बुद्धि का उपयोग करना है।
3% की हर बात, सलाह, लालच, भरोसा को नकारना जरूरी है। विश्वास के मामले में सिंधू घाटी सभ्यता के इतिहास से आज तक को समझना सबक लेना जरूरी है। यह महामानवों ने पहले से तय कर दिया है कि 3% पर कभी विश्वास भरोस नहीं करना है।
97% , तीन % पर विश्वास , भरोसा करता यही 97% की सभी समस्या का मूल कारण है। कारण तीन %, विदेशी है। इसलिए 97% , की उन्नति विकास सुख सुविधा, साधन संपन्न देखना नहीं चाहता। इसे व्यवहार में पालन किए बिना पक्ष में परिवर्तन दृष्टिगोचर नहीं होगा।