🌻धम्म प्रभात🌻 सुन्दरी' नाम की परिव्राजिका की हत्या' सांप्रदायिक द्वेष का परिणाम स्थान: श्रावस्ती ( उत्तर प्रदेश ) "अग्गपूजितो थोमितो , अग्गमानितो वन्दितो ।अग्गभिवादितो पुज्जो, बुद्धं तं पणमाम्यहं ।" अर्थात - अग्रपूज्य , प्रशंसित , सम्मान किए जाने वालों में अग्रणी , वंदित , अभिवादन किए जाने वालों में अग्र - पूज्य, उन “बुद्ध” को मैं प्रणाम करता हूं। एक समय भगवान श्रावस्ती में अनाथपिण्डिक के जेतवन आराम में विहार करते थे । उस समय, लोग भगवान का बड़ा सत्कार ,आदर ,सम्मान कर रहे थे। पूजित और प्रतिष्ठित हो उन्हें चीवर, पिण्डपात, शयनासन, और ग्लान प्रत्यय बराबर प्राप्त होते थे। लोग भिक्षु संघ का भी बड़ा सत्कार आदर ,सम्मान कर रहे थे। पूजित और प्रतिष्ठित हो उन्हें चीवर, पिण्डपात, शयनासन, और ग्लान प्रत्यय बराबर प्राप्त होते थे। किंतु, दूसरे मत के साधुओं को कोई सत्कार ,आदर , सम्मान नहीं करता था; उनकी पूजा-प्रतिष्ठा भी नहीं होती थी; उन्हें ...